सामाजिक न्याय के माध्यम से अमृत काल को साकार करना मोदी सरकार की सर्वोच्चप्राथमिकता- डॉ. वीरेंद्र कुमार
इंदौर।केंद्रीय मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि आज जब भारत आगामी वर्ष 2047 में आजादी की 100 वीं वर्षगांठ को मनाने के लिए आगे बढ़ रहा है ऐसे में हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में भारत उच्च आर्थिक वृद्धि वाली अर्थव्यवस्था बना हुआ है। यह उनका तीसरा कार्यकाल है और उनके नेतृत्व में भारत सरकार 2047 तक विकसित भारत के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। देश की वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण जी द्वारा पेश किया गया बजट 2024-2025 उसी लक्ष्य को परिलक्षित करता है। यह बजट मोदी सरकार के प्रति देश के लोगों द्वारा जताए गये विश्वास को दर्शाता है।
जावरा कंपाउंड स्थित भाजपा कार्यालय पर केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डॉ. वीरेंद्र कुमार ने पत्रकारो से बातचीत की। बातचीत में डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि इस बजट में गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी समूहों सहित अन्य सभी का ध्यान रखा गया है। इस बजट में विकास के 9 सूत्रीय विषय को शामिल किया गया है जो कृषि में उत्पादकता और लचीलापन से लेकर अगली पीढ़ी के सुधारों तक सर्वांगीण और समग्र कल्याण तथा विकास को समाहित करता है। इस उद्देश्य को प्राप्त करने के लिये पाँच वर्षों की अवधि में 4.1 करोड़ युवाओं के रोजगार और कौशल को बढ़ावा देने के लिए पाँच योजनाओं और पहलों का एक पैकेज घोषित किया गया है जिसका केन्द्रीय आबंटन 2 लाख करोड़ रुपए है ।ईपीएफ योगदान के लिए नियोक्ताओं को 2 वर्षों के लिए प्रति माह 3,000 रुपए का प्रतिपूर्ति समर्थन दिए जाने का प्रावधान इस बजट में किया गया है जिससे 50 लाख से अधिक युवाओं को लाभ पहुंचेगा । इस बजट में कौशल विकास हेतु जो कार्यक्रम प्रस्तुत किया गया है उसके तहत पाँच वर्षों की अवधि में 20 लाख युवाओं को कौशल प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। इसके लिए देश के 1,000औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों को उन्नत किया जाएगा और इससे संबंधित पाठ्यक्रम की सामग्री को आधुनिक समय की कौशल आवश्यकताओं के अनुरूप तैयार किया जाएगा। इसके अतिरिक्त किसी भी सरकारी योजना के लिए पात्र नहीं होने वाले युवाओं को घरेलू संस्थानों में प्रशिक्षण प्राप्त करने के लिए 10 लाख रुपए तक के ऋण का वित्तीय समर्थन दिया जाएगा। इस उद्देश्य के लिए हर साल एक लाख छात्रों को ई-वॉउचर प्रदान किए जाएंगे जिसमे ऋण राशि का 3% वार्षिक ब्याज अनुदान होगा। इसके अलावा सरकार ने युवाओं को 500 कंपनियों में उद्योग का अनुभव प्राप्त करने के लिए एक व्यापक इंटर्नशिप कार्यक्रम भी शुरू करने का प्रावधान किया है जिसमें आगामी पाँच वर्षों में एक करोड़ युवाओं को लाभ होगा। पहली बार नौकरी में आए कर्मियों को 15000 रुपए तक का एक महीने का पारिश्रमिक दिया जाएगा, जिससे 2.01 करोड़ युवाओं को लाभ मिलेगा।
डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि वेतन भोगी कर्मचारियों के लिए राहत बढ़ाने के लिए मानक कटौती को 50,000 रुपए से बढ़ाकर 75,000 रुपए कर दिया गया है। माध्यम वर्ग के लिए असमानताओं को कम करने के लिए बजट में सामाजिक सुरक्षा के लाभ प्रदान किए गए हैं जिसमे NPS की कटौती की दर को 10% से बढ़ाकर
14% किया गया है और NPS वात्सल्य की शुरुआत की गई है। बजट में एक करोड़ शहरी गरीब और
मध्यम वर्गीय परिवारों की आवास आवश्यकताओं के लिए 10 लाख करोड़ रुपए का निवेश प्रदान किया
गया है ।सामाजिक न्याय के माध्यम से अमृत काल को साकार करना मोदी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। भारत का अमृत काल उसका कर्तव्यकाल भी है इसके दौरान समाज के सभी वर्गों जिसमे गरीब, अन्नदाता, युवा और नारी शक्ति है इन सभी को राष्ट्र की सफलता की कहानी में आपना योगदान देना है। इसके साथ ही देश के आदिवासी समुदायों की सामाजिक/आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए देश के 63,000 गावों को कवर किया गया है जिसका देश के 5 करोड़ आदिवासी लोगों को लाभ मिलेगा ।
वीरेंद्र कुमार ने कहा कि इस बजट में मोदी सरकार ने MSME की क्रेडिट पहुँच और परिचालन दक्षता में सुधार की पहलकी है। इस उदेश्य के लिए तरुण श्रेणी के अंतर्गत मुद्रा ऋण की सीमा को 10 लाख रुपए से बढ़ाकर 20 लाख रुपए कर दिया गया है। भारत की बढ़ती आर्थिक आकांक्षाओं के अनुरूप बजट में ई कॉमर्स निर्यात केंद्रों की स्थापना की घोषणा की गई है जो MSME और पारंपरिक कारीगरों के लिए अंतर्राष्ट्रीय बाजारों में प्रतिस्पर्धा करने के लिए व्यापार और निर्यात से संबंधित सेवाओं को बढ़ावा देगा।
हमारे आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के सतत और बुनियादी ढांचे द्वारा संचालित विकास
के दृष्टिकोण के अनुरूप वित्त वर्ष 2024-25 के लिए पूंजीगत व्यय आबंटन को बढ़ाकर 11,11,111
करोड़ रुपए कर दिया गया है जोकि GDP का 3.4% है जबकि UPA सरकार के तहत वित्त वर्ष 2013-
14 के लिए यह व्यय आबंटन 2,57,614 करोड़ रुपए था जोकि GDP का केवल 2.8% था। हमारी
सरकार का यह आबंटन देश में चौगुनी आर्थिक वृद्धि की ओर इशारा करता है ।इस वार्ता के दौरान सांसद शंकर लालवानी और कैबिनेट मंत्री तुलसी सिलावट मुख्य रूप से उपस्थित रहे।